Swami Vishwaprasanna Tirtha : अयोध्या के राम मंदिर में राम लला के प्राण प्रतिष्ठा समारोह की धूम पूरे देश में देखने को मिली. 500 वर्षों में पहली बार जनवरी के महीनें में दिवाली मनाई हैं. इन सब के बीच सोशल मीडिया पर फोटो तेजी से वायरल हो रही हैं. इस फोटो में गर्भगृह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ एक पुजारी पूजा के दौरान अपना चेहरा ढककर रखा हुआ नजर आ रहा हैं.
इंटरनेट पर फोटो और विडियो वायरल होने के बाद से लोगों को ये समझ नहीं आ रहा हैं कि आखिर पुजारी ने पूजा के दौरान मुहं क्यों ढका हुआ हैं? आज इस लेख में हम इस पुजारी के बारे में जानेगे और ये भी बताएंगे कि आखिर उन्होंने अपना मुहं क्यों ढका हुआ था.
कौन हैं चेहरा ढकने वाला पुजारी? (Swami Vishwaprasanna Tirtha)
पूजा के दौरान अपना चेहरा ढ़ककर राम मंदिर में नजर आने वाले पुजारी का नाम श्री विश्वप्रसन्न तीर्थ स्वामी (Swami Vishwaprasanna Tirtha) है. बता दे स्वामी विश्वप्रसन्ना तीर्थ उडुपी पेजावर के मठाधीश हैं.
उडुपी पेजावर के मठाधीश के आलावा स्वामी विश्वप्रसन्ना तीर्थ जी श्री राम जन्मभूमित तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के मेंबर भी हैं. पूजा के दौरान मुहं ढकने के आलावा विश्वप्रसन्ना जी अपने एक बयान के कारण भी लाइमलाइट में आए थे. दरअसल उन्होंने कहा था कि लोगों को अपने बच्चों के नाम हिंदू धार्मिक ग्रंथों से चुनने चाहिए.
पूजा के दौरान पुजारी Swami Vishwaprasanna Tirtha जी ने क्यों ढका चेहरा?
हिंदू पूजा के अनुष्ठानों के कई ऐसे पहलू है, जिसमे बारे में बेहद कम लोग ही जानते हैं हालाँकि प्रत्येक का अपना ही भाव है. दरअसल विश्वप्रसन्ना जी ने प्राण प्रतिष्ठा पूजा के दौरान ‘नैवेद्य’ चढ़ाने के दौरान अपना चेहरा भगवा कपड़े से ढ़क लिया था. बता दे नैवेद्य भगवान को चढ़ाये जाने वाले पदार्थ को कहते हैं. मान्यताओं के अनुसार भगवान को ‘नैवेद्य’ चढ़ाते समय चेहरा ढ़क लेना चाहिए.
स्वामी विश्वप्रसन्ना तीर्थ जी एक कन्नड़ टीवी चैनल ने चेहरा ढकने के बारे में पूछा गया था. जिसके जवाब में उन्होंने कहा कि भगवान को नैवेद्य चढ़ाने के दौरान आंखें बंद करने का भाव सिर्फ दक्षिण भारतीय रीति-रिवाजों तक ही सीमित नहीं है, बल्कि यह प्रत्येक जगह मानने वाली एक सदियों से चली आ रही एक पुरानी प्रथा है.